ओम शांति प्रजापिता ब्रह्माकुमारी ईश्वरीय विश्वविद्यालय ब्यावरा के द्वारा आज 20 जून 2019 को गुरुवार के दिन सुबह 8:00 बजे एसी होटल में अंतरराष्ट्रीय योग दिवस मनाया गया जिसमें मुख्य अतिथि के रूप में शिवनी से आई हुई योग शक्ति आरती दीदी जो श्रीमद्भगवद्गीता कि वरिष्ठ वक्ता है, पंडित चंद्रकांत त्रिपाठी ,डॉ़ अशोक अग्रवाल जी डॉ डीके गुप्ता जी , पुरुषोत्तम शिवहरे जी टॉकीज वाली ,संतोषी जी गुरुद्वारे से , ब्रम्हाकुमारी लक्ष्मी दीदी सभी ने मिलकर दीप प्रज्वलित किया तथा इस कार्यक्रम की शुरुआत की है सभी अतिथियों का तिलक एवं पुष्प से स्वागत की गई एक छोटी सी नन्ही बच्ची भी स्वागत गीत से सबका स्वागत किया और कार्यक्रम को आगे बढ़ाते हैं जो आज की मुख्य अतिथि योग शक्ति आरती दीदी जो शिवनी से आई हुई है उन्होंने बहुत सुंदर श्रीमद्भगवद्गीता में जो राजयोग का विषय बताया गया है उसके बारे में समझाते हुए कहा जिसे जीवन में परिवर्तन लाना बहुत सहज है उन्होंने बताया कि योग से हमारे जीवन में परिवर्तन होती है तो आत्मा की शुद्धि करण हो जाता है जिसमें पवित्रता सुख-शांति सम्मिलित रहती है उन्होंने कहा कि श्री कृष्ण जी ने अर्जुन को भी योग की विधि बताई थी तब उनको आत्मा का ज्ञान दिया था और कहा कि हे अर्जुन तुझे राजाओं का राजा बनना है तो अपने आप को पहचानना पड़ेगा तब हम उस परमात्मा से शक्ति लेकर अपने अंदर ताकत भर सकेंगे और बुराइयों से लड़कर विजय प्राप्त कर सकें योग वह संबंध है जो हम परमात्मा से जोड़ते हैं जिसे हमारा परिवार हमारा समाज और राष्ट्र सुखी हो जाता है शांत हो जाता है उन्होंने योग का मतलब बहुत सुंदर शब्दों में कहा जोड़ आज हम सभी दुनिया में योगी हैं किसी ने किसी से योग हर इंसान का हुआ है लेकिन वह सब लोग कहीं स्वार्थ के लिए है तो कही मोह अगर हम परमात्मा से अपना संबंध जोड़ते हैं तो हमारा जीवन सुख और समृद्धि से भरपूर हो जाता है हर व्यक्ति का एक लक्ष्य होता उन्होंने उदाहरण देते हुए कहा की जिसे गांधी जी ने एक लक्ष्य रखा था कि मुझे भारत को स्वर्ग बनाना है मुझे अंग्रेजों से भारत को आजाद करना है तो अपने लक्ष्य पर चल पड़े त्याग तपस्या और ब्रह्मचर्य के बल से उन्होंने भारत को स्वतंत्र कर दिया इसी प्रकार से अगर हमें अपने जीवन का लक्ष्य समझ में आ जाए कि हमें हमारा लक्ष्य कहां है जैसे इंसान कहीं तय करता है तो रास्ते में उसे किलोमीटर की एक सीमेंट से बनी हुई पोल दिखाई देता है जिसमें दूरियां लिखी होती है और दूरियां देखकर अपनी मंजिल तक पहुंचने के लिए रास्ते पर चल पड़ता है इसी प्रकार से मुझे भी अपना लक्ष्य तय करना है कि मेरा लक्ष्य है जीवन में सुख और शांति से भरपूर होना तथा अन्य लोगों तक सुख शांति को पहुंचाना लेकिन अभी हम रास्ता तय कर रहे हैं हमारी मंजिल तक हम पहुंचे नहीं हैं मंजिल तक पहुंचने के लिए एकाग्रता की शक्ति चाहिए और वह एकाग्रता की शक्ति परमात्मा के जोर से परमात्मा के संबंध से हमें वह ताकत मिलेगी इस प्रकार उन्होंने बहुत सुंदर ढंग से योग की विधि बताइए पश्चात उन्होंने बहुत सुंदर म्यूजिक सिस्टम से एक्सरसाइज कराया योगा सिखाया फिर ब्रह्मा कुमारी लक्ष्मी दीदी ने कॉमेंट्री से योग कराई
ब्यावरा सेन्टर कि सदस्यों ने मिलकर आरती दीदी का शॉल और श्रीफल से सम्मान किया गया तथा माताओं के द्वारा पुष्प हार पहनाकर समान किया गया और इसके पश्चात सभी को अपने हाथों से प्रसाद वितरण कर सभी को एक नई जीवन कि लक्ष्य तक पहुंचने के लिए मार्गदर्शन किया जिसमें सभी ब्यावरा नगर के गणमान्य भाई बहने वह ईश्वरी परिवार से जुड़े हुए लोग उपस्थित थे
Source: BK Global News Feed
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